मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वीर बाल दिवस’ पर चार साहिबजादों और सिख गुरुओं को किया नमन
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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ‘वीर बाल दिवस’ पर चार साहिबजादों और सिख गुरुओं को किया नमन
मुख्यमंत्री योगी ने कहा – उनकी प्रेरणा से हम ‘काबुल’ और ‘बांग्लादेश’ बनने से बचेंगे
लखनऊ: ‘वीर बाल दिवस’ के अवसर पर उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सिख गुरु परंपरा और अमर बलिदानी चार साहिबजादों की अद्वितीय शहादत को नमन किया. उन्होंने अपने संबोधन में कहा, श्री गुरु नानक देव जी महाराज से लेकर गुरु श्री गोबिन्द सिंह जी महाराज तक, जो आदर्श सिख गुरुजन ने स्थापित किए, वे हम सभी के लिए प्रेरणा हैं। उस प्रेरणा से जब हम आगे बढ़ेंगे, तब काबुल और बांग्लादेश बनने से बच पाएंगे।
चार साहिबजादों और माता गुजरी जी को श्रद्धांजलि
मुख्यमंत्री ने गुरु गोबिन्द सिंह जी महाराज के चार साहिबजादों – बाबा अजीत सिंह, बाबा जुझार सिंह, बाबा जोरावर सिंह, बाबा फतेह सिंह – और माता गुजरी जी की वीरता और त्याग को याद करते हुए कहा, “देश और धर्म के लिए शहादत की जो नई कहानी उन्होंने लिखी, वह हम सभी के लिए प्रेरणा का स्रोत है। अमर बलिदानी चार साहिबजादों की पावन स्मृतियां हमारे हृदय में सदैव जीवंत रहेंगी।”
सिख गुरुओं में उत्कृष्ट भूमिका
मुख्यमंत्री ने गुरु परंपरा की महानता को रेखांकित करते हुए कहा, सिख गुरुओं ने मानवता, धर्म और राष्ट्र के लिए जो आदर्श प्रस्तुत किए, वह हर भारतीय के लिए मार्गदर्शक हैं। उन्होंने कहा कि सिख परंपरा ने न केवल धर्म की रक्षा की, बल्कि समाज को एकजुट और शक्तिशाली बनाने का कार्य किया।
‘वीर बाल दिवस’ का महत्व
‘वीर बाल दिवस’ की महत्ता पर प्रकाश डालते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि यह दिन देश के उन अमर बलिदानियों को याद करने और उनकी प्रेरणा से आगे बढ़ने का अवसर है। उन्होंने कहा कि “आज का दिन हमें सिख गुरुओं और चार साहिबजादों की अदम्य साहस और बलिदान की याद दिलाता है। उनकी प्रेरणा हमें हर चुनौती का सामना करने और धर्म व राष्ट्र की रक्षा के लिए तत्पर रहने का संकल्प देती है।”
समाज के लिए प्रेरणास्रोत
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि यदि हम सिख गुरुओं की प्रेरणा से आगे बढ़ें, तो हम हर प्रकार की विपरीत परिस्थितियों में भी अपने धर्म और संस्कृति को संरक्षित रख सकते हैं। उन्होंने यह संदेश दिया कि चार साहिबजादों के बलिदान की भावना को अपनी जीवनशैली में आत्मसात करना, हर भारतीय का कर्तव्य है।