Haryana के बुजुर्गों की बुढ़ापे में बल्ले बल्ले, इस महीने से फ्री तीर्थ यात्रा शुरू।
हरियाणा के बुजुर्गों की बुढ़ापे में हुई मौज हरियाणा सरकार फ्री तीर्थ यात्रा के लिए इस महीने से शुरू किया पोर्टल।
हरियाणा में बुजुर्गों के लिए एक बहुत बड़ी और एक बहुत ही अच्छी खबर सामने आई है ऐसे बुजुर्ग जो आर्थिक तंगी होने की वजह से धार्मिक स्थलों की यात्रा नहीं कर पा रहे ।
न्हें हरियाणा सरकार द्वारा निशुल्क इस सुविधा का लाभ दिया जाएगा प्रदेश सरकार ने ऐसे 29 लाख बुजुर्गों को चिन्हित किया है जो गरीब परिवार से संबंध रखते हैं। और तीर्थ यात्रा के लिए आवेदन हेतु सरकार इस माह के अंत तक पोर्टल की शुरुआत करने जा रही है।
हरियाणा के बुजुर्ग इन तीर्थ स्थलों का करेंगे भ्रमण।
हरियाणा सरकार द्वारा पोर्टल पर आवेदन करने के बाद सरकार ऐसे लोगों को समूह में भगवान श्री राम की नगरी अयोध्या, महाकाल की नगरी उज्जैन, गुरु गोविंद सिंह जी की नगरी श्री नांदेड़ साहिब जी ,और बाबा काशी नाथ की नगरी वाराणसी की मुक्त यात्रा प्रदान करेगी।
बुजुर्गों का पूरा खर्च वहन करेगी हरियाणा सरकार।
हम आपको बता देना चाहते हैं कि पिछले दिनों करनाल में आयोजित अंतोदय सम्मेलन के दौरान हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर और केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह ने तीर्थ यात्रा योजना की शुरुआत की थी।
इस योजना के तहत 180000 रुपए से कम आय वाले परिवारों के बुजुर्गों को मुफ्त में तीर्थ यात्रा करवाने का प्रावधान किया गया है।
इस योजना के तहत पत्र बुजुर्गों को तीर्थ स्थलों पर ले जाने और लाने का खर्च हरियाणा सरकार बहन करेगी।
जबकि खाने-पीने और रहने का पूरा खर्च संबंधित बुजुर्गों को देना होगा हालांकि सरकार की ओर से यह व्यवस्थाएं करने में भी मदद की जाएगी ,और साथ में संबंधित तीर्थ स्थलों पर दर्शन करने में सरकार का पूरा सहयोग रहेगा।
वॉलिंटियर्स करेंगे मदद।
हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर के प्रधान सचिव सी उमाशंकर ने बताया की मुक्त तीर्थ यात्रा योजना के प्रस्ताव को अंतिम रूप दिया जा चुका है और प्रत्येक तीर्थ यात्रा पर बुजुर्गों के साथ हरियाणा सरकार की ओर से वॉलिंटियर्स भेजे जाएंगे ताकि उन्हें किसी भी प्रकार की परेशानियों का सामना न करना पड़े।
हरियाणा के सीएम मनोहर लाल खट्टर करेंगे लॉन्च पोर्टल।
इस महीने की अंत तक इस पोर्टल पर लांच होने की पूरी उम्मीद है जिस पर तीर्थ यात्रा के लिए बुजुर्गों को आवेदन करना पड़ेगा आवेदन करने के बाद बुजुर्गों को यह बताना होगा कि वह कौन से महीने में और कौन से धार्मिक स्थल पर यात्रा करना चाहते हैं।
जिसके बाद सरकार संबंधित महीने की तारीख अपने स्तर पर तय करके यात्रियों का अलग-अलग बेस बनाएगी प्रत्येक देश में कम से कम बुजुर्गों की संख्या 30 होगा जबकि अधिकतम कितने भी हो सकते हैं।
यदि बुजुर्गों की संख्या बहुत अधिक होती है तो सरकार की ओर से विशेष ट्रेन का इंतजाम भी धार्मिक स्थल तक किया जा सकता है।