16 साल पहले हुए टीचिंग फेलो इंडियन घोटाले में 457 शिक्षकों की हुई थी भर्ती, अफसर भी जांच के दायरे में

चंडीगढ़, 24 जुलाई
16 साल पहले हुए इस घोटाले में 457 शिक्षकों और अधिकारियों की भर्ती भी जांच के दायरे में है. विजिलेंस ब्यूरो पंजाब के विभिन्न विभागों में हुई अनियमितताओं की जांच कर रही है. इस बीच विजिलेंस को वर्ष 2007 में शिक्षकों की नियुक्ति में हुई गड़बड़ी के तथ्य मिले हैं. 16 साल पहले 9998 टीचिंग फेलो की भर्ती हुई थी। इसमें से 457 शिक्षकों के प्रमाणपत्र फर्जी पाये गये हैं. जिसका दावा निगरानी ब्यूरो ने किया है.
विजिलेंस के मुताबिक 457 शिक्षकों के अनुभव प्रमाणपत्र फर्जी पाए गए हैं और उनमें कई खामियां हैं। इसके बाद विजिलेंस ने शिक्षा विभाग से रिपोर्ट मांगी है और 457 शिक्षकों को अपने अनुभव प्रमाण पत्र के साथ विजिलेंस अधिकारियों के समक्ष उपस्थित होने को कहा है. इन विवादित शिक्षकों को 25 जुलाई को तलब किया गया है। इस संबंध में सभी जिला शिक्षा अधिकारियों को इन शिक्षकों का रिकार्ड तुरंत मुख्यालय भेजने को कहा गया है ताकि 25 जुलाई को उक्त रिकार्ड विजिलेंस को दिया जा सके।
इस मामले को लेकर शिक्षा विभाग में इस कदर दहशत का माहौल है कि अधिकारियों को साफ तौर पर कहा गया है कि अगर कोई अधिकारी जाने-अनजाने में तय समय के अंदर रिकॉर्ड नहीं देता है तो विजिलेंस उक्त अधिकारी को गिरफ्तार कर सकती है. इस मामले में विजिलेंस ब्यूरो ने 8 मई 2023 को केस दर्ज किया था और अब मामले की जांच तेज कर दी गई है. विभाग की ओर से पिछले दो माह से इन शिक्षण साथियों का रिकार्ड मांगा जा रहा था।
शिक्षक ही नहीं विजिलेंस उन अधिकारियों तक भी पहुंचने की कोशिश कर रही है, जिन्होंने 457 शिक्षकों के अनुभव प्रमाणपत्रों का सत्यापन किया था। पत्र में कहा गया है कि फर्जी अनुभव प्रमाण पत्र की पुष्टि करने वालों का नाम, पता और फोन नंबर दिया जाए। विजिलेंस ने उन अफसरों के नाम भी मांगे हैं जो रिटायर हो चुके हैं या जिनकी मौत हो चुकी है।