ब्रिटिश काउंसिल से समझौता पक्का मुख्यमंत्री के नेतृत्व में पंजाब सरकार ने शिक्षित युवाओं के प्रवासन की प्रवृत्ति को रोकने के लिए ब्रिटिश काउंसिल के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किए।

पंजाबी युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा करने के लिए अंग्रेजी भाषा में विशेषज्ञ बनाने के लिए कदम उठाए गए
मुख्यमंत्री ने नई पहल को पंजाबी युवाओं के कल्याण के लिए एक ऐतिहासिक कदम बताया
सरकारी कॉलेजों के पांच हजार विद्यार्थियों के लिए पायलट प्रोजेक्ट चलाया जाएगा
चंडीगढ़, 24 जुलाई;
मुख्यमंत्री भगवंत मान के नेतृत्व में पंजाब सरकार की एक विशेष पहल के तहत युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर पैदा करने के लिए ब्रिटिश काउंसिल एजुकेशन इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (बीसीईआईपीएल) के साथ एक समझौते पर हस्ताक्षर किए गए हैं।
पंजाब सरकार की ओर से उच्च शिक्षा विभाग के निदेशक डाॅ. अमरपाल सिंह एवं ब्रिटिश काउंसिल के एम.डी. डंकन विल्सन पर मुख्यमंत्री भगवंत मान, शिक्षा मंत्री हरजोत सिंह बैंस और चंडीगढ़ में ब्रिटिश उप उच्चायुक्त कैरोलिन रोवेट ने हस्ताक्षर किए।
मुख्यमंत्री ने इस समझौते पर पहुंचने पर उच्च शिक्षा विभाग को बधाई देते हुए कहा कि यह दिन प्रदेश के इतिहास में स्वर्णिम अक्षरों में लिखा गया है। उन्होंने कहा कि इस समझौते से उच्च शिक्षा विभाग के अंतर्गत शासकीय महाविद्यालयों के विद्यार्थियों के लिए ‘काम के बदले अंग्रेजी’ प्रशिक्षण पाठ्यक्रम प्रारंभ करने का मार्ग प्रशस्त होगा। भगवंत मान ने उम्मीद जताई कि इससे पंजाब के युवाओं में रोजगार कौशल को नवीनीकृत करने में मदद मिलेगी और युवा उद्योग और सेवा क्षेत्र में अपने लिए नौकरी के अधिक अवसर प्राप्त कर सकेंगे।
मुख्यमंत्री ने आगे कहा कि इससे युवाओं को भारत में रहने और काम करने के लिए प्रोत्साहन मिलेगा और वे पंजाब की सामाजिक-आर्थिक प्रगति में योगदान देंगे। उन्होंने कहा कि राज्य से कुशल युवाओं के पलायन की प्रवृत्ति को बढ़ावा देने की दिशा में यह एक बड़ा कदम है. भगवंत मान ने कहा कि इस परियोजना के हिस्से के रूप में, छात्र काम के लिए ‘स्तर’ की अंग्रेजी सीखेंगे, जो उन्हें अंग्रेजी जानकर रोजगार कौशल प्रदान करेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि ‘इंग्लिश फॉर वर्क’ एक मिश्रित पाठ्यक्रम है, जो काम जैसी वास्तविक स्थितियों में उपयोग की जाने वाली अंग्रेजी भाषा सीखने पर केंद्रित होगा। उन्होंने कहा कि सुनना, पढ़ना, लिखना और बोलना व्याकरण, मुहावरों और शब्दावली पर केंद्रित होगा। भगवंत मान ने बताया कि इस समझौते के तहत शैक्षणिक सत्र 2023-24 से राज्य के सरकारी कॉलेजों में पांच हजार विद्यार्थियों के लिए यह प्रोजेक्ट पायलट प्रोजेक्ट के तौर पर शुरू होगा.