विश्व प्रसिद्ध शिक्षाविद प्रेम रावत ने ‘जीवन के मूल्य की समझ – अपने आप को जानना’ पर लोगों को संबोधित किया… VIDEO

विश्व प्रसिद्ध शिक्षाविद प्रेम रावत ने ‘जीवन के मूल्य की समझ – अपने आप को जानना’ पर लोगों को संबोधित किया, जिसमें 375,603 दर्शकों के लिए ‘एक ही स्थान पर एक संबोधन में सबसे बड़ी भागीदारी’ के लिए एक नया विश्व रिकॉर्ड स्थापित किया।
प्रेम रावत ने बोधगया के औरा गांव में अन्नपूर्णा राइस मिल के पास राज विद्या केंद्र द्वारा आयोजित विश्व की सबसे बड़ी सभा में लोगों को संबोधित करने के लिए गया, भारत की यात्रा की। उन्होंने एक घंटे से भी ज्यादा समय का ये सम्बोधन दिया। इस व्याख्यान में गणमान्य व्यक्तियों, बुद्धिजीवियों, मीडिया छात्रों और जीवन के सभी क्षेत्रों के व्यक्तियों ने भाग लिया, जो 26 तारीख की सुबह से ही आना शुरू हो गए थे। प्रेम के रिकॉर्ड को गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स के निर्णायक स्वप्निल डंगरिकार व प्रवीण पटेल और विषय वस्तु विशेषज्ञ की उपस्थिति में मंच पर स्वीकार किया। गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड्स टीम ने इसे एक ही संबोधन में सबसे बड़ी उपस्थिति के रिकॉर्ड के रूप में दर्ज किया। इसने आधिकारिक तौर पर भारत के बिहार के गया शहर में 375, 603 लोगों द्वारा सुनने का एक नया विश्व रिकॉर्ड स्थापित किया। अपने संबोधन के दौरान उन्होंने आज हम जिस दुनिया में रहते हैं उसमें अपने आप को जानने के महत्व’ पर प्रकाश डाला। उन्होंने कहा, किसी भी अन्य चीज से अधिक अपने आप को जानने को महत्व देते हुए कहा था अपने आप को जानो। उन्होंने आगे कहा, “अज्ञानता पैदा करती है, जबकि ज्ञान संतोष और संतुष्टि की भावना को पैदा करता है। अपने आप को समझने के पीछे एक और प्रमुख उद्देश्य यह है कि जीवन में हमारा नियंत्रण केवल अपने आप पर होता है और यही हमारे जीवन में हमारी खुशी और शांति को निर्धारित करता है। इसलिए, जीवन यात्रा में अपने आप को जानना हमें
ड्राइवर की सीट पर रखता है”।
प्रेम रावत का एक परिचय
प्रेम रावत एक विश्व प्रसिद्ध शिक्षाविद, बेस्टसेलर लेखक, मानवतावाद और अब दो गिनोज वर्ल्ड रिकॉर्ड के धारर्क हैं, जो विश्व भर के श्रोताओं को वास्तव में अपने आप से जुड़ने और संतुष्टि का जीवन जीने के लिए प्रेरित करते है। प्रेम रावत ने प्रत्येक व्यक्ति के लिए आशा और शांति का व्यावहारिक संदेश लाने के अपने अथक प्रयासों से लाखों लोगों के जीवन को प्रभावित किया है। उनके समबोधन और संदेश उनके छह दशकों से अधिक समय में किए गए 5,500 से अधिक कार्यक्रम में प्राप्त उनके गहन व्यक्तिगत अनुभव पर आधारित हैं।
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